जिस तरह भी हो प्यार का सफर… Ghazal in hindi

Ghazal in hindi
जिस तरह भी हो प्यार का सफर… Ghazal in hindi

जिस तरह भी हो प्यार का सफर जारी रख
मुश्किलें आएंगी पथ में मगर जारी रख

तुझको है चाँद सितारों से भी आगे जाना
अपनी हर जूस्तजू बेखौफ जारी रख

रूबरू तेरे युग को झुका देगा यह
बात करने का है जो तुझमें हुनर जारी रख

तेरे इस दिल में जुस्तजू है मंजील है
हर कदम अपना सरे राहगुजर जारी रख

अपने मकसद में तू जिन्दगी दूर बहुत
फिर भी हर सोच तू इस दिल में मगर जारी रख

तू पहुँच जाएगा मंजील पे कभी प्यारे हताश
इसलिए लाजमी है अपना सफर जारी रख
प्यारे हताशghazal pnkh

जरा इसे भी पढ़ें : ग़ज़ल : ए दोस्त वो सेहरा भी मुझ को देखने दो, अब इम्तेहां…
जरा इसे भी पढ़ें : ग़ज़ल : अब किससे कहें और कौन सुने जो हाल तुम्हारे बाद हुआ