Muslim seva sangathan का प्रतिनिधिमंडल डीजीपी से मिला
देहरादून। शहर के बिगड़ते हालातो को लेकर शहर काजी मोहम्मद अहमद कासमी व शहरे मुफ्ती सलीम अहमद शाहब व मुस्लिम सेवा संगठन के संरक्षक व कांग्रेसी नेता आजाद अली के नेतृत्व में एक मुस्लिम डेलीगेसन ने उत्तराखंड पुलिस महानिदेशक से मिला। Muslim seva sangathan का कहना था कि पिछले कुछ समय से देहरादून के माहौल को बिगाड़ने को लेकर कुछ असामाजिक तत्व बजरंग दल के नाम पर खुली गुंडागर्दी कर रहे हैं।

कुछ दिन पूर्व कानून को हाथ में लेते हुए इन्हीं असामाजिक तत्वों ने कालोनी डालनवाला देहरादून में काफी साथियों के साथ दंगा भड़काने व हिन्दू मुस्लिम एकता को तोड़ने का प्रयास किया था। यही असामाजिक तत्व दंगा भड़काने की नीयत से रमजान के महीने में हो रही तरावीह की नमाज को लेकर कई जगह नमाज पढ़ने से रोकने व उक्त कालोनियों में रहने वाले लोगों को बोलते हैं यहाँ जो चार पांच घर पहले थे वो ही नमाज पढ़ सकते हैं तुम लोग कुछ दिन से आये हो तुमको यहाँ नमाज नही पढ़ने देंगे जैसे कृत्य कर सौहार्द बिगाड़ने का कार्य निरन्तर कर रहे हैं जो कि लोकतंत्र के लिए बड़ा खतरा है।
पेट्रोल डालकर जला देने की बात करते हैं
28 मई को अजबपुर में साइकिल खड़ी करने को लेकर मैनुदिन के साथ एक व्यक्ति की नोंक झोंक हो जाती है उक्त व्यक्ति अगले दिन अपने साथ बजरंग दल से जुड़े 40 से 50 लोगों को लाठी डंडो लोहे की रॉड लेकर मैनुदिन की दुकान पर आ धमकता है। उक्त सभी लोग मैनुदिन के साथ मार पिटाई करते हैं दुकान का सारा सामान तोड़ देते हैं। उक्त व्यक्ति फिर मैनुदिन को मारते पीटते हुए नेहरू कालोनी फुव्वारा चौक के पास एक मंदिर में ले जाते हैं, लगभग आधा घंटा मारते पीटते है और पेट्रोल डालकर जला देने की बात करते हैं।
इस गम्भीर प्रकरण में देहरादून पुलिस द्वारा दोषियों को थाने लाने की बजाय छोटी मोटी धाराओं में मुकदमा पंजिकृत कर 41 का नोटिस देकर प्रकरण की लीपा पोती कर दी गयी हैं व पीड़ितऔर उसके परिवार को शान्ति से बैठने की हिदायत दे दी गयी हैं। डीजीपी से मिलने वालों में नसीम अहमद, वसीम अहमद, आसिफ कुरैसी, सद्दाम कुरैसी, अतीकुर्रहमान आकिब आदि शामिल रहे।