ब्रिक्स 2016 : सुरक्षा में लगे पुलिसकर्मी भरपेट खाने को तरसे

पणजी। गोवा में हो रही 8वीं ब्रिक्स समिट के लिए सुरक्षा इंतजाम में लगे सुरक्षाकर्मी परेशान है। उनकी शिकायत है कि ब्रिक्स समिट के नाम पर वे घंटों सड़क किनारे खड़े रहते है, वहीं उनके खाने के लिए विभाग ने पर्याप्त इंतजाम नहीं किए। स्थानीय मीडिया में ये मुद्दा जोर पकड़ता जा रहा है।
शनिवार को ब्रिक्स समिट स्थल पर जाते हुए श्हिन्दुस्थान समाचारश् संवाददाता ने ट्रक में बैठे पुलिसकर्मियों को सड़क किनारे खड़े अपने हर साथी को दो पाव, दो आलूबड़े और दो केले देते हुए देखा। पूछने पर पता चला कि ब्रिक्स समिट के दौरान चिन्हित रास्तों पर तैनात पुलिसकर्मियों के लिए विभाग की ओर से नाश्ता दिया जा रहा है। ब्रिक्स समिट के लिए गोवा के वो तमाम रास्ते जो गोवा के डमब्लिन हवाई अड्डे से ब्रिक्स समिट स्थल तक जाते है, सुरक्षा एजेंसियों द्वारा अपने कब्जे में ले लिए गए थे।
रास्तों के दोनो ओर हर 50 गज पर पुलिसकर्मियों की तैनाती की गई है। इसके लिए पड़ोसी राज्यों, महाराष्ट्र और कर्नाटक से पुलिस बल बुलाया गया है। पुलिस के अलावा पैरा मिलिटरी की आठ कंपनियां भी तैनात की गई हैं। दक्षिण गोवा के सारे समुद्र तटों पर बड़ी संख्या में पुलिसबल तैनात है। लेकिन अपने विभाग द्वारा भोजन और काम के घंटों को लेकर पुलिसकर्मी नाराज दिखे। हिन्दुस्थान समाचार ने पांच सुरक्षा पिकेट पर तैनात पुलिसकर्मियों से बात की। अपना नाम नहीं छापने की गुजारिश के साथ पुलिसकर्मियों ने बताया कि पिछले एक हफ्ते से वे सभी इसी तरह घंटों ड्यूटी कर रहे हैं, लेकिन खाने के नाम पर उन्हें पर्याप्त डाइट नहीं दी जा रही।
स्थानीय मीडिया के मुताबिक गोवा सरकार ने ब्रिक्स समिट के दौरान तैनात प्रत्येक पुलिसकर्मी के लंच और डिनर के लिए 105 रुपए का आवंटन किया है, वहीं सुबह के नाश्ते के लिए 50 रुपये प्रति पुलिसकर्मी का आवंटन हुआ है। राज्य सरकार ने एक स्थानीय अखबार को बताया कि इसके लिए 52 लाख रुपये का आवंटन किया गया है। इस पर एक स्थानीय रेस्त्रां केन्टुकी के मालिक ने बताया कि इतने रुपये में गोवा में भरपेट भोजन मिलना संभव नहीं है। वहीं काम के दबाव और पर्याप्त डाइट नहीं मिलने के चलते गोवा पुलिस के एक आरक्षक की तबीयत फील्ड में खराब होने का मामला भी सामने आया है। इस पूरे मामले में फिलहाल पुलिस चुप्पी साधे हुए हैं।