ग्रामीणों की आजीव‍िका बढ़ाने के उपाय करना जरूरी : महाराज

Measures to increase the livelihood of the villagers
कार्यक्रम का उद्घाटन करते मंत्री सतपाल महाराज।

Measures to increase the livelihood of the villagers

पंचायत मंत्री ने किया त्रिस्तरीय पंचायत प्रतिनिधियों एवं कार्मिकों के दो दिवसीय प्रशिक्षण शिविर का शुभारंभ

श्रीनगर (गढ़वाल)। Measures to increase the livelihood of the villagers क्षेत्र पंचायत प्रमुखों को निजी सहायक (डाटा एण्ट्री ऑपरेटर) मुहैया करा दिया गया है और जिला योजना समिति  की बैठकों में क्षेत्र पंचायत प्रमुख की शतप्रतिशत भागीदारी सुनिश्चित कर दी गयी है।

प्रदेश के पंचायतीराज, ग्रामीण निर्माण, पर्यटन, लोक निर्माण, सिंचाई, जलागम, धर्मस्य एवं संस्कृति मंत्री सतपाल महाराज ने अपने गढ़वाल भ्रमण के छठवें दिन शुक्रवार को चौरास परिसर स्थित स्वामी मनमंथन प्रेक्षागृह में राष्ट्रीय ग्राम स्वराज अभियान के तहत पंचायतों में सशक्त विकास लक्ष्यों के स्थानीयकरण और ग्राम पंचायत विकास योजना के विषय पर आयोजित त्रिस्तरीय पंचायत प्रतिनिधियों एवं कार्मिकों के दो दिवसीय प्रशिक्षण शिविर में बतौर मुख्य अतिथि प्रतिभाग करते हुए कही।

शिविर में दूर-दूर से ग्रामीण क्षेत्रों के जनप्रत‍िन‍िध‍ शि‍रकत करने पहुंचे। इस कार्यक्रम के माध्‍यम से सतत व‍िकास लक्ष्‍यों के स्‍थानीयकरण एवं ग्राम पंचायत व‍िकास योजना व‍िषय पर त्र‍िस्‍तरीय पंचायत प्रत‍िन‍िध‍ियों एवं कार्म‍िकों को प्रशि‍क्षण दि‍या जा रहा है।

राष्ट्रीय ग्राम स्वराज अभियान के तहत पंचायतों में सशक्त विकास लक्ष्यों के स्थानीयकरण और ग्राम पंचायत विकास योजना के विषय पर आयोजित त्रिस्तरीय पंचायत प्रतिनिधियों एवं कार्मिकों के दो दिवसीय 16 और 17 दिसम्बर तक चलने वाले प्रशिक्षण शिविर के शुभारंभ अवसर पर त्रिस्तरीय पंचायत प्रतिनिधियों एवं कार्मिकों को संबोधित करते हुए पंचायत मंत्री सतपाल महाराज ने कहा कि हमारी कोशिश है कि प्रदेश में जिला पंचायत अध्यक्ष और क्षेत्र पंचायत प्रमुख का चुनाव आम राय से हो।

सतत व‍िकास की रूपरेखा बनाने का सुझाव दिया : Satpal Maharaj

उन्‍होंने कहा क‍ि राज्य स्तरीय अभिमुखीकरण कार्यशाला में पांच जनपदों के प्रतिनिधि प्रतिभाग कर रहे हैं। इस कार्यशाला के माध्यम से सतत विकास लक्ष्यों की प्राप्ति, ठोस तरल अपशिष्ट प्रबंधन और जल जीवन मिशन को कैसे सफल किया जा सके इसी मंशा से कार्यशाला आयोजित की गई है।

इस दौरान उन्‍होंने स्‍थानीय जरूरतों को देखते और समझते हुये जनप्रत‍िन‍िध‍ियों को ग्रामीणों के सतत व‍िकास की रूपरेखा बनाने का सुझाव दिया। पंचायतीराज मंत्री श्री महाराज ने कहा कि त्रिस्तरीय पंचायत प्रतिनिधियों की यह कार्यशाला जनप्रतिनिधियों के क्षमता विकास के लिए आयोजित की गई है, ताकि सतत विकास लक्ष्यों को प्राप्त किया जा सके।

विकास योजनाओं को बनाने और योजनाओं के क्रियान्वयन के लिए कैसे कार्यनीति बने यही इस अभिमुखीकरण कार्यशाला का उद्देश्य है। उन्‍होंने सभी त्रिस्‍तरीय जनप्रत‍िन‍िध‍ियों से कार्यक्रम को सफल बनाने की अपील करते हुये संवाद के रूप में कार्यशाला में भाग लेने के लिये कहा।

सभी सुव‍िधाओं को मुहैया कराने पर जोर देना चाहिए : Satpal Maharaj

श्री महाराज ने कहा कि सतत व‍िकास की प्रक्र‍िया को साकार करने के ल‍िये एसडीजी लक्ष्‍यों की प्राप्‍ति करना बहुत अन‍िवार्य है। जनप्रत‍िन‍िध‍ियों को ग्रामीणों की आजीव‍िका को बढ़ाने और उन्‍हें आज की जरूरतों के अनुरूप व‍िकास को दर्शाने वाली सभी सुव‍िधाओं को मुहैया कराने पर जोर देना चाहिए।

इस अवसर पर पाणी राखो आंदोलन के प्रणेता सच्चिदानंद भारती ने कहा कि ग्रामीण अंचल में पंचायत राज को सशक्त बनाने के लिए इस प्रकार की कार्यशालाओं का अत्यधिक महत्त्व है। सरकार का गांव की सरकार को स्वराज की ओर ले जाने का यही सबसे बेहतरीन तरीका है।

कार्यक्रम के पहले द‍िन सांस्‍कृत‍िक कार्यक्रम का आयोजन भी क‍िया गया। इसमें अन‍िल बिष्‍ट और हेमा नेगी करासी अपने सुरों से कार्यक्रम में जोश भर दिया। कार्यक्रम में पंचायतीराज व‍िभाग के संयुक्‍त निदेशक राजीव कुमार नाथ त्र‍िपाठी और पूर्व संयुक्‍त न‍िदेशक पंचायती राज डीपी देवराड़ी सहित अनेक जनप्रतिनिधि एवं अधिकारी मौजूद थे।

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