भैरव पूजन के साथ खुल जायेगा Kedarnath temple के कपाट
रुद्रप्रयाग। हिमालय की गोद में बसे भगवान केदारनाथ ( Kedarnath temple ) के कपाट खुलने का श्रीगणेश बुधवार को होने वाली भैरव पूजन के साथ शुरू हो जायेगा। विगत कई दशकों से चली आ रही परम्परा के अनुसार भगवान केदारनाथ की चल विग्रह उत्सव डोली के धाम रवाना होने से पूर्व केदारपुरी के क्षेत्र रक्षक भैरवनाथ की पूजा का विधान है।
लोक मान्यता है कि भगवान केदारनाथ के शीतकालीन गद्दीस्थल ओंकारेश्वर मन्दिर में विराजमान भैरवनाथ की पूजा के बाद भैरवनाथ केदारपुरी को प्रस्थान कर देते हैं। बुधवार देर सांय भगवान केदारनाथ के शीतकालीन गद्दीस्थल ओंकारेश्वर मन्दिर में विराजमान केदारपुरी के क्षेत्र रक्षक भैरवनाथ की पूजा अर्चना विधि विधान से की जायेगी |
26 अप्रैल को Baba Kedar की डोली होगी केदारनाथ के लिये रवाना
26 अप्रैल को भगवान केदारनाथ की पंचमुखी चल विग्रह उत्सव डोली शीतकालीन गद्दीस्थल ओंकारेश्वर मन्दिर से प्रातः 10 बजे केदारनाथ के लिये रवाना होगी तथा पंचमुखी चल विग्रह उत्सव डोली जैवरी, विघापीठ, गुप्तकाशी, नाला, नारायणकोंटी, मैखण्डा होते हुये प्रथम रात्रि प्रवास के लिये फाटा पहुंचेगी।
27 अप्रैल को पंचमुखी चल विग्रह उत्सव डोली फाटा से प्रस्थान कर शेरसी, बडासू, रामपुर, सीतापुर, सोनप्रयाग होते हुये द्वितीय रात्रि प्रवास के लिये गौरीमाता मन्दिर गौरीकुण्ड पहुँचेगी तथा 28 अप्रैल को भगवान केदारनाथ की पंचमुखी चल विग्रह उत्सव डोली गौरीकुण्ड से प्रस्थान कर विभिन्न यात्रा पड़ावों पर श्रद्वालुओं को आशीष देते हुये केदारनाथ धाम पहुंचेगी और 29 अप्रैल को भगवान केदारनाथ के कपाट प्रातः 6 बजकर 15 पर ग्रीष्मकाल के लियें खोल दियेे जाएंगे।