कार्तिकेय स्वामी मंदिर, अनसूया मंदिर को पर्यटन सर्किट से जोड़ा जाएगा : महाराज

Anasuya temple will be linked to tourism circuit
बालमपुरी शंख पूजा के दौरान पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज।

Anasuya temple will be linked to tourism circuit

कार्तिकेय स्वामी मंदिर में हुई भव्य 108 बालमपुरी शंख पूजा

रुद्रप्रयाग। Anasuya temple will be linked to tourism circuit उत्तराखंड पर्यटन विभाग द्वारा जनपद के क्रौंच पर्वत में स्थित कार्तिकेय स्वामी मंदिर में भव्य 108 बालमपुरी शंख पूजा व हवन कार्यक्रम का आयोजन किया गया।

उत्तराखंड पर्यटन विभाग द्वारा प्रदेश के पर्यटन, धर्मस्व एवं संस्कृति मंत्री सतपाल महाराज की पहल पर मंगलवार को जनपद के क्रौंच पर्वत में स्थित कार्तिकेय स्वामी मंदिर में भव्य 108 बालमपुरी शंख पूजा व हवन कार्यक्रम का आयोजन किया गया।

इस अवसर पर श्री महाराज ने दक्षिण भारत से आए शिवाचार्य व गुरुजनों के साथ पूजा अर्चना कर प्रतिभाग कर रहे लोगों एवं दक्षिण भारत से आये अतिथियों का स्वागत करते हुए कहा कि कार्तिक स्वामी मंदिर में 108 बालमपुरी शंख से पूजा व हवन किया गया तथा दक्षिणा वर्त से स्वामी कार्तिकेय का जलाभिषेक किया गया है।

उन्होंने कहा कि पृथ्वी की परिक्रमा करने के बाद कार्तिकेय स्वामी यहां पर पहुंचे तो गणेश को श्रेष्ठ पद दिया गया है जिसके बाद कार्तिकेय ने अपनी माँ पार्वती से नाराज होकर यहाँ पर तपस्या की। उन्होंने कहा कि इसके बाद कार्तिकेय दक्षिण भारत को चले गए। जहां उनकी मुरगन स्वामी के नाम से विशेष रूप से आराधना की जाती है।

उन्होंने कार्तिक स्वामी मंदिर व कार्तिकेय स्वामी के जीवन के बारे में विस्तार से बताया। प्रदेश के पर्यटन, धर्मस्व एवं संस्कृति मंत्री सतपाल महाराज ने कहा कि उत्तर भारत का यह कार्तिकेय स्वामी का एकमात्र मंदिर है।

उन्होंने कहा कि दक्षिण भारत में तमिलनाडू व कर्नाटक में भगवान कार्तिकेय के बहुत अनुयायी हैं तथा आज दक्षिण के शिवाचार्य आए हैं तथा सभी अनुयायी देश के आगे बढने की कामना कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि अगस्त्यमुनि के अगस्त्य ऋषि, कार्तिकेय स्वामी मंदिर व अनसूया मंदिर को पर्यटन सर्किट से जोड़ा जाएगा तथा पर्यटन की दृष्टि से विकसित किया जाएगा।

सभी शिवाचार्य, गुरुजनों एवं भक्तजनों का आभार व्यक्त किया

उन्होंने कहा कि कार्तिकेय स्वामी मंदिर के विकसित होने से स्थानीय स्तर पर भी रोजगार के अवसर उपलब्ध होंगे। उन्होंने कहा कि कार्तिकेय मंदिर को पर्यटन के मानचित्र पर उभरकर आए इसके लिए पर्यटन की दृष्टि से इसे विकसित किया जाएगा। श्री महाराज ने कार्यक्रम में शामिल होने पर सभी शिवाचार्य, गुरुजनों एवं भक्तजनों का आभार व्यक्त किया।

इस अवसर पर केदारनाथ की विधायक शैला रानी रावत ने कहा कि उत्तर भारत व दक्षिण भारत के लोगों के लिए यह ऐतिहासिक मिलन का दिन है जहां सभी लोग एक साथ मिले हैं। इस अवसर पर ड्रोन कैमरे के माध्यम से श्रद्धालुओं पर पुष्पवर्षा की गई।

पदमश्री शिवमणि व उनके साथियों द्वारा अपनी प्रस्तुति भी दी गई। साथ ही शिवाचायों व गुरुजनों व अतिथियों को सम्मानित भी किया गया। इस अवसर पर श्री ला श्रीमत सरवण मणिक्का वासग स्वामी, शिवज्ञान बालय, कुमर गुरुबरा स्वामी, शांतलिंग मरूथासला, तिरूज्ञानांदा स्वामीगल|

मेडोलिन यू राजेश, आरूर सुब्रझयणम शिवाचार्य स्वामी सुषांता, मैंडोलिन यू राजेश, उत्तराखंड सरकार के ओएसडी भाष्कर खुल्बे, पर्यटन सचिव सचिन कुर्वे, अपर सचिव सी रविशंकर, पुलिस अधीक्षक डाॅ. अशोक भदाणे, उप जिलाधिकारी ऊखीमठ जितेंद्र वर्मा|

जिला पर्यटन अधिकारी राहुल चैबे, सुशील नौटियाल, भाजपा जिलाध्यक्ष महावीर पंवार, पूर्व जिलाध्यक्ष विजय कप्रवान, मंदिर समिति के अध्यक्ष शत्रुघन नेगी, विक्रम नेगी, सुरेंद्र नेगी, रघुवीर नेगी, पूरण सिंह नेगी, रमेश सिह, बलराम सहित दक्षिण भारत से आए व स्थानीय भक्तगण मौजूद रहे।

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