चाइल्ड फ्रेंडली का शुभारम्भ किया

Inaugurated Child Friendly
चाइल्ड फ्रेंडली और क्म्यूट फ्रेंडली ट्रांसपोर्ट परियोजना का शुभारम्भ करते सीएम।

Inaugurated Child Friendly

देहरादून। Inaugurated Child Friendly मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने शनिवार को आईएसबीटी के निकट स्थानीय होटल में देहरादून स्मार्ट सिटी लि. की चाइल्ड फ्रेंडली और क्म्यूट फ्रेंडली ट्रांसपोर्ट परियोजना का औपचारिक शुभारम्भ किया।

मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत, नोबल पुरस्कार विजेता कैलाश सत्यार्थी, भारत में फ्रांस के राजदूत एमानुवेल लिनेन, मेयर सुनील उनियाल गामा, विधायक हरबंस कपूर, विनोद चमोली, सहदेव सिंह पुण्डीर ने बच्चों के साथ दीप प्रज्ज्वलित कर कार्यक्रम का शुभारम्भ किया। 

सीएम त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने कहा कि देहरादून देश का पहला शहर है, जहां से चाइल्ड फ्रेंडली शहर की शुरूआत हो रही है। यह उत्तराखण्ड के लिए सम्मान की बात है। सम्मानजनक होने के साथ-साथ, यह चुनौतीपूर्ण भी है।

उन्होंने कहा कि संवेदनाओं की पराकाष्ठाओं से ही कैलाश सत्यार्थी जैसे लोग पैदा होते हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि  कोई शहर तभी स्मार्ट हो सकता है, जहां बच्चों की सुरक्षा हमारा उद्देश्य होना चाहिए। इसके लिए हम सबको मिलकर प्रयास करने होंगे।

बच्चों के प्रति दोस्ताना व्यवहार रखने की आवश्यकता

देहरादून स्मार्ट सिटी की चाईल्ड फ्रेंडली और कम्यूट फ्रेंडली ट्रांसपोर्ट परियोजना, शहर में बच्चों के लिए सुरक्षित यातायात उपलब्ध कराने में निश्चित रूप से सफल होगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि बच्चों के प्रति दोस्ताना व्यवहार रखने की आवश्यकता है। 

राज्य सरकार भी बच्चों के प्रति संवेदनशील है। राज्य सरकार द्वारा अनाथ बच्चों के लिए 5 प्रतिशत आरक्षण की व्यवस्था की गयी है। इसके साथ ही प्रदेश में मुख्यमंत्री वात्सल्य योजना प्रारम्भ की जा रही है।

इस परियोजना की सफलता के लिए राज्य सरकार द्वारा पंचायत स्तर पर प्रशिक्षण कार्यक्रम चलाए जाएंगे। बच्चों की सुरक्षा का हम आज से ही संकल्प लेना होगा। इसकी शुरूवात स्वयं से करना जरूरी है।

शांति नोबल पुरस्कार विजेता कैलाश सत्यार्थी ने कहा कि मैं जब भी उत्तराखण्ड आता हूं, ऐसा लगता है कि यहां की हवाओं में ऋषि परम्परा एवं अध्यात्म की चेतना गूंज रही है। बाल मित्र देहरादून का सपना यही ऋषि परम्परा है।

बाल श्रम के विरूद्ध हमें मजबूती के साथ खड़ा होना होगा

उत्तराखण्ड सरकार ने यह कदम रखकर बड़ी जिम्मेदारी उठा ली है। इस जिम्मेदारी का निर्वहन सरकार के साथ ही समाज, विभिन्न संस्थानों एवं मीडिया को मिलकर करना होगा। इस जिम्मेदारी को अंजाम तक पहुंचाने के लिए बहुत परिश्रम की आवश्यकता है।

बाल अधिकारों  की रक्षा एवं बाल श्रम के विरूद्ध हमें मजबूती के साथ खड़ा होना होगा। उन्होंने कहा कि इसके लिए ईश्वर हमें प्रेरणा देता है। उन्होंने कहा कि मुझे लगता है कि मैं बच्चों को आजाद नहीं कराता, बल्कि वे मुझे आजाद कराते हैं।

जब तक हम ऐसी दुनिया का निर्माण नहीं करते जहां बच्चों में मित्रता का भाव न हो, तब तक हमारी सभ्यता में कहीं न कहीं खोट है। कैलाश सत्यार्थी ने कहा कि हमारे मन में ईमानदारी, करूणा एवं क्षमा का भाव होना जरूरी है।

मेयर श्री सुनील उनियाल गामा ने कहा कि देहरादून तेजी से स्मार्ट सिटी की ओर बढ़ रहा है। स्मार्ट सिटी के अंतर्गत देहरादून देशभर में 19वीं रैंक पर है। उन्होंने कहा कि देहरादून को स्वच्छ एवं सुन्दर बनाने में आप सब के सहयोग की आवश्यकता है।

उन्होंने कहा कि प्रदेशभर में बच्चों के लिए मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र द्वारा अनेक कार्यक्रम चलाये जा रहे हैं। कुपोषण से मुक्ति हेतु बच्चों को गोद लेने की प्रथा शुरू की गयी है। इसके साथ ही ‘बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ‘ द्वारा प्रदेश में बालिकाओं की स्थिति में सुधार हुआ है।

इस अवसर पर मिशन डायरेक्टर स्मार्ट सिटी भारत सरकार कुनाल कुमार, सचिव शहरी विकास शैलेश बगोली, कमिश्नर गढ़वाल रविनाथ रमन एवं जिलाधिकारी एवं सीईओ स्मार्ट सिटी आशीष श्रीवास्तव भी उपस्थित थे।

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