Collusion between builders and forest department
मसूरी। Collusion between builders and forest department पहाड़ों की रानी मसूरी अपनी प्राकृतिक खूबसूरती के लिए देश-दुनिया में प्रसिद्ध है लेकिन इस हिल स्टेशन की खूबसूरती पर ग्रहण लग गया है। शहर के अधिकांश वन क्षेत्र में अवैध तरीके से मलबा फेंका जा रहा है।
जिससे शहर की हरियाली खतरे में पड़ गई है.। शहर के हाथी पांव रोड , लक्ष्मणपुरी, टिहरी बाइपास , कंपनी गार्डन, कैंपटी रोड सहित कई क्षेत्र में जंगल में बड़े पैमाने पर मलबा धड़ल्ले से मलबा फेंका जा रहा है।
शहर के कुछ बिल्डरों की बुरी नजर शहर की खूबसूरती को बर्बाद कर रही है। अवैध रूप से मलबा डालने से खूबसूरती पर तो प्रभाव पड़ ही रहा है, पर्यावरण पर भी बुरा असर पड़ रहा है। किन्तु वन विभाग इस और से अपनी आंखे मूंदे बैठा है। जिससे समस्या दिन प्रतिदिन विकराल रूप धारण करती जा रही है।
स्थानीय प्रशासन और वन विभाग की लापरवाही की कीमत मसूरी को चुकानी पड़ रही है। बिल्डर जगह-जगह जंगल में मलबा फेंक रहे हैं। जिससे बांजदृबुरांस के छोटे पेड़ों को भारी नुकसान हो रहा है। इस की मलबे की वजह से कई पेड़ सूखने के कगार पर हैं।
पर्यटकों का सबसे पंसदीदा हिल स्टेशन
स्थानीय निवासी सूरत सिंह रावत कहते हैं कि पहाड़ों की रानी मसूरी देश दुनिया के पर्यटकों का सबसे पंसदीदा हिल स्टेशन है। हर साल मसूरी की प्राकृतिक खूबसूरती और खुशनुमा मौसम का लुत्फ उठाने के लिए बड़ी संख्या में सैलानी घूमने पहुंचते है लेकिन कुछ बिल्डरों ने शहर की प्राकृतिक खूबसूरती को तबाह करने की ठान ली है।
बिल्डर जगह-जगह जंगल में मलबा फेंक रहे हैं जिससे बांजदृबुरांश के छोटे पेड़ों को भारी नुकसान हो रहा है। बिल्डर जगह-जगह जंगल में मलबा फेंक रहे हैं जिससे बांजदृबुरांश के छोटे पेड़ों को भारी नुकसान हो रहा है।
सूरत सिंह रावत कहते हैं कि कुछ बिल्डर रात-दिन शहर के वन क्षेत्र में मलबा फेंक रहे हैं। निर्माण कार्यों का मलबा जंगल में फेंका जा रही है। यह जानने के बावजूद वन विभाग हो या स्थानीय प्रशासन अवैध डंपिंग के खिलाफ कोई ठोस कार्रवाई करने को तैयार नहीं है।
मसूरी वन प्रभाग के वन क्षेत्राधिकारी वीरेन्द्र सिंह का कहना है कि वन विभाग की टीम लगातार क्षेत्र में गश्त कर रही है। रात्रि गश्त के लिए भी टीम बनाई गई है। जंगल में अवैध तरीके से मलबा फेंकने वालों पर नजर रखी जा रही है|
पकड़े जाते ही उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। वन विभाग के अधिकारी भले ही कड़ी कार्रवाई की बात कर रहे हैं लेकिन जिस तरह बिल्डर अवैध ढंग से मलबा लगातार जंगल में फेंककर मसूरी की हरियाली तबाह कर रहे हैं। उससे लगता नहीं कि वन विभाग की चेतावनी का कहीं कोई असर दिखाई दे रहा है।
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