बाल वैज्ञानिकों ने जनपदस्तरीय आयोजन में दिखाई अपनी प्रतिभा

इलाहाबाद। विद्यार्थियों में वैज्ञानिक चेतना जागृत कर उन्हें स्थानीय परिवेश में तार्किक वैज्ञानिक खोज की दिशा में आगे बढ़ाने के उद्देश्य से भारत सरकार के विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग का एक प्रमुख कार्यक्रम राष्ट्रीय बाल विज्ञान कांग्रेस का जनपद स्तरीय आयोजन जगत तारन गोल्डेन जुबली में हुआ।
राष्ट्रीय बाल विज्ञान कांग्रेस के जिला समन्वयक डा. मो.मसूद ने कहा कि यह युवा वैज्ञानिकों को ऐसा मंच प्रदान करता है, जहां वे अपने शोध कार्य को प्रदर्शित कर अपने खोज एवं ज्ञान की प्यास को तृप्त कर पायें। प्रदेश सह समन्वयक प्रमोद मिश्रा ने परियोजना में आंकड़ा-संग्रह, प्रायोगिक-विश्लेषण व अवलोकन के महत्व को बताया तथा बाल वैज्ञानिकों को ईमानदारी से अपनी परियोजना को पूर्ण करने का सुझाव दिया। विद्यालय की प्राचार्या इन्द्राणी गुप्ता ने बाल वैज्ञानिकों के प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि वर्तमान में सतत् विकास की जरूरत है, जिसके लिए युवा वैज्ञानिकों को ऐसी तकनीक विकसित करनी होगी जो तार्किक रूप से पर्यावरणीय, आर्थिक एवं सामाजिक उत्थान में भी उपयोगी हो।
इस अवसर पर उपस्थित बाल वैज्ञानिकों ने खाद्य पदार्थों में मिलावट की जांच, जल की गुणवत्ता का स्वास्थ्य पर प्रभाव, जैव विविधता, जलवायु परिवर्तन, मिट्टðी की गुणवत्ता,, लवण युत्तफ मिट्टðी को कृषि योग्य बनाने की तकनीक, औद्योगिक अपशिष्टों का कृषि हेतु पुनर्चक्रण, ऊर्जा का संरक्षण, दिव्यांगों के लिए सुगमता आदि विषयों पर निर्णायकों द्वारा प्रशंसा की गई।
परियोजनाओं के मूल्यांकन के लिए इविवि के डा.भूपेश त्रिपाठी, सीएमपी डिग्री कालेज की डा.अर्चना पाण्डेय व डा.अमिता पाण्डेय, डा.देवव्रत द्विवेदी, डा.अशोक कुलश्रेष्ठ व डा.मरियम वसीम उपस्थित रहे। टैगोर पब्लिक स्कूल के वरिष्ठ विज्ञान शिक्षक एवं रा.बा.वि.कां के आयोजन सचिव संजय श्रीवास्तव ने बताया कि जनपद स्तर से चयनित हिन्दी एवं अंग्रेजी माध्यम के बाल वैज्ञानिक 5 नवम्बर को टीपीएस में अपना शोध पत्र राज्यस्तरीय आयोजन में करेंगे।